
Russian RS-24 Yars ballistic missiles roll in Red Square during the Victory Day military parade in Moscow, Russia.
Highlights
- जेन्स स्टॉल्टेनबर्ग का कहना है कि सैन्य संगठन यूक्रेन में ‘नो फ्लाई जोन’ को लागू नहीं कराएगा।
- इस तरह के कदम से यूरोप की परमाणु हथियारों से लैस रूस के साथ व्यापक जंग भड़क जाएगी: स्टॉल्टेनबर्ग
- रूस की फौज ने यूक्रेन में हमले तेज कर दिए हैं और वे शहरों तथा अन्य स्थलों पर भारी बमबारी कर रहे हैं: स्टॉल्टेनबर्ग
ब्रुसेल्स: उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (NATO) के महासचिव जेन्स स्टॉल्टेनबर्ग का कहना है कि सैन्य संगठन यूक्रेन में ‘नो फ्लाई जोन’ को लागू नहीं कराएगा, क्योंकि इस तरह के कदम से यूरोप की परमाणु हथियारों से लैस रूस के साथ व्यापक जंग भड़क जाएगी। अमेरिकी विदेश मंत्री एंटोनी ब्लिंकन और NATO के अन्य सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों की एक बैठक की अध्यक्षता करने के बाद स्टॉल्टेनबर्ग ने यूक्रेन की पीड़ा को स्वीकार करते हुए कहा कि रूस की फौज ने यूक्रेन में हमले तेज कर दिए हैं और वे शहरों तथा अन्य स्थलों पर भारी बमबारी कर रहे हैं।
‘यूक्रेन में जो हो रहा है, वह भयावह है’
स्टॉल्टेनबर्ग ने कहा कि यूक्रेन में रूस के हमले से 10 लाख से अधिक लोग देश छोड़ने को मजबूर हुए हैं। उन्होंने कहा, ‘यूक्रेन में जो हो रहा है, वह भयावह है। यह दर्दनाक है हम जो मानव पीड़ा और जिस स्तर पर तबाही देख रहे हैं, वह हमने द्वितीय विश्व युद्ध के बाद से यूरोप में नहीं देखी है। हम यूक्रेन नहीं जा रहे हैं, न जमीन पर और न ही यूक्रेन के हवाई क्षेत्र में।’ NATO की सुरक्षा गारंटी 30 सदस्य देशों को लेकर है और संधि का अनुच्छेद 5 कहता है कि अगर किसी एक सदस्य पर हमला होता है तो सारे सदस्य उसकी रक्षा के लिए आगे आएंगे।
‘तो यूरोप में व्यापक युद्ध छिड़ जाएगा’
यदि रूस NATO का कोई जंगी जहाज मार गिरा दे तो यह स्थिति आ सकती है। NATO महासचिव ने कहा, ‘उड़ान प्रतिबंध क्षेत्र लागू करने का सिर्फ एक तरीका है। वह यह है कि नाटो यूक्रेन के हवाई क्षेत्र में अपने लड़ाकू विमान भेजे और रूस के विमानों को मार गिराकर उड़ान प्रतिबंधित क्षेत्र लागू करे।’ उन्होंने कहा कि सहयोग देशों का मानना है, ‘अगर हम यह (यूक्रेन के हवाई क्षेत्र में अपने लड़ाकू विमान भेजते हैं तो) इससे यूरोप में व्यापक युद्ध छिड़ जाएगा।’
‘युद्ध ज्यादा विनाशकारी और खतरनाक होगा’
बता दें कि यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने पश्चिमी देशों से अपील की थी कि वे उनके देश में उड़ान प्रतिबंधित क्षेत्र लागू कराएं। यह अपील यूक्रेन के परमाणु संयंत्र में रात में लगी आग के बाद की गई है। यह संयंत्र यूरोप में सबसे बड़ा है। स्टॉल्टेनबर्ग ने कहा, ‘हम इस संघर्ष का हिस्सा नहीं हैं और हमारी जिम्मेदारी यह सुनिश्चित करना है कि यह (युद्ध) न बढ़े और यूक्रेन से आगे न जाए, क्योंकि ऐसा होने पर यह अधिक विनाशकारी और खतरनाक होगा।’ (भाषा)